सार गीता सार By admin - October 31, 2020 0 1684 Share Facebook Twitter Google+ Pinterest WhatsApp क्यों व्यर्थ चिंता करते हो ? किसलिए दुखी होते हो ? जो हुआ, अच्छा हुआ जो हो रहा है, अच्छा हो रहा है, जो होगा, वह भी अच्छा ही होगा