2020 के आठवें माह अगस्त में रक्षाबंधन, जन्माष्टमी और हरितालिका तीज जैसे बड़े तीज-त्योहार मनाए जाएंगे। 3 अगस्त को सावन माह की पूर्णिमा है। इस दिन सुबह 9.29 बजे तक भद्रा रहेगी, इसके बाद पूरे दिन रक्षासूत्र बांध सकते हैं। 4 अगस्त से भाद्रपद मास शुरू हो जाएगा। ये हिन्दी पंचांग के छठा माह है। सोमवार, 3 अगस्त को रक्षाबंधन और सावन माह की अंतिम तिथि पूर्णिमा है। सुबह 9.29 बजे तक भद्रा रहेगी। इसके बाद पूरे दिन रक्षासूत्र बांधा जा सकता है। पूर्णिमा तिथि पर स्नान के बाद जरूरतमंद लोगों को दान जरूर करें। भद्रा से जुड़ी मान्यता: पंडित विपिन शर्मा के अनुसार भद्रा के संबंध में कई तरह की मान्यताएं प्रचलित हैं। कुछ विद्वानों के अनुसार भद्रा शनिदेव की बहन हैं। भद्रा का स्वभाव भी शनि की तरह ही क्रूर है। ज्योतिष में इसे एक विशेष काल माना जाता है, इस समय में कोई भी शुभ कर्म शुरू नहीं किया जाता है। शुभ कर्म जैसे विवाह, मुंडन, नए घर में प्रवेश, रक्षाबंधन पर रक्षासूत्र बांधना आदि। भद्रा को सरल शदों में अशुभ मुहूर्त कह सकते हैं। हर माह की पूर्णिमा पर सत्यनारायण भगवान की कथा करने की परंपरा पुराने समय से चली आ रही है। सत्यनारायण विष्णुजी का ही एक स्वरूप है। इनकी कथा में सत्य बोलने का महत्व समझाया है। जो लोग झूठ बोलते हैं, उन्हें कैसी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। ये कथा में बताया गया है। सत्यनारायण भगवान को केले को भोग लगाना चाहिए। सोमवार को सावन माह की अंतिम तिथि है।
इस दिन शिवलिंग पर जल चढ़ाकर अभिषेक करें। हार-फूल और पूजन सामग्री के साथ ही बिल्व पत्र, आंकड़े के फूल विशेष रूप से चढ़ाएं। शिवजी के मंत्रों का जाप करें। मंत्र जाप कम से कम 108 बार करना चाहिए। धूप-दीप जलाकर आरती करें। अन्य त्योहार: शुक्रवार, 7 अगस्त को गणेश चतुर्थी व्रत पर गणेशजी के लिए व्रत रखने की परंपरा है। भगवान गणपति को दूर्वा अर्पित करें। रविवार, 9 अगस्त को श्रीकृष्ण के बड़े भाई बलदाऊ की जयंती है। इसदिन बलरामजी की पूजा करनी चाहिए। मंगलवार, 11 अगस्त और बुधवार, 12 अगस्त को पंचांग भेद की वजह से जन्माष्टमी रहेगी। कुछ क्षेत्रों में 11 को और कुछ क्षेत्रों में 12 अगस्त को ये पर्व मनाया जाएगा। बाल गोपाल को माखन-मिश्री का भोग लगाएं। शनिवार, 15 अगस्त जया एकदशी है। इस दिन भगवान विष्णु के अवतारों की पूजा करें और व्रत रखें। मंगलवार, 18 अगस्त और बुधवार, 19 अगस्त को अमावस्या तिथि रहेगी। अपने क्षेत्र के पंचांग के हिसाब से अमावस्या पर पितरों के लिए धूप-ध्यान करें। शुक्रवार, 21 अगस्त को हरितालिका तीज है। ये पर्व महिलाओं के लिए विशेष महत्व रखता है। इस दिन देवी पार्वती के लिए व्रत किया जाता है, देवी की पूजा की जाती है। शनिवार, 22 अगस्त से गणेश उत्सव शुरू हो जाएगा और 1 सितंबर तक चलेगा। शनिवार को मिट्टी की गणेश प्रतिमा घर में विराजित करें और धूप-दीप जलाकर विधिवत आरती करें। रविवार, 23 अगस्त को ऋ षि पंचमी है। इस दिन सप्तऋषियों की पूजा करने की परंपरा है।