पौष महीने में सूर्य का प्रभाव बढ़ जाता है। 14 जनवरी को सूर्य के उारायण होने के साथ ही पौष महीने का शुलपक्ष भी शुरू हो गया। जो, 28 जनवरी को पूर्णिमा के साथ खत्म होगा। इसके बाद माघ महीना शुरू हो जाएगा। इस समय सूर्य का प्रभाव बढऩे से सृष्टि में बहुत से सकारात्मक बदलाव आते हैं। ऐसे में उन बदलावों के लिए तैयार होना जरूरी है। इसलिए इस महीने में जीवन को उाम बनाने का सही समय होता है। वैसे तो पौष महीने में कोई शुभ काम नहीं होते हैं, लेकिन भगवान की पूजा और खासतौर से सूर्य उपासना के लिए ये महीना सबसे अच्छा माना गया है। हिंदू पंचांग के मुताबिक हिन्दू पंचांग के दसवें महीने को पौष कहते हैं। इस महीने हेमंत ऋतु का असर ज्यादा होता है। इसलिए मौसम में ठंडक बढ़ जाती है। इस महीने सूर्य अपने विशेष प्रभाव में भी रहता है। महीने में खासतौर से की जाने वाली सूर्य की उपासना ही शुभ फल देने वाली होती है। मान्यता है कि इस महीने सूर्य 11 हजार रश्मियों के साथ मनुष्यों को ऊर्जा और अच्छी सेहत देता है। पौष महीने में अगर सूर्य की नियमित उपासना करे पूरे साल सेहत अच्छी रहती है। इस तिथि पर गणेशजी के लिए पूजा करनी चाहिए। मंगलवार, 19 जनवरी को स्कंद षष्ठी व्रत किया जाएगा। इस दिन भगवान कार्तिकेय की पूजा की जाती है। बुधवार, 20 जनवरी को गुरु गोविंद सिंह जयंती रहेगी। इस दिन सिखों के दसवें गुरु का जन्मदिवस मनाया जाता है। रविवार, 24 जनवरी को पुत्रदा एकादशी है। इस तिथि पर भगवान विष्णु और उनके अवतारों की पूजा करें। श्रीकृष्ण के बाल स्वरूप बाल गोपाल का दक्षिणावर्ती शंख से अभिषेक करें।